स्थापना दिवस,01 दिसम्बर (वार्ता) राजस्थान से लगती पाकिस्तान की अन्तर्राष्ट्रीय सीमा पर तैनात सीमा सुरक्षा बल के 58 वें स्थापना दिवस पर विभिन्न बटालियनों, सेक्टर हैडक्वार्टरों एवं सीमा चौकियों पर कई कार्यक्रमों का आयोजन किया गया। राजस्थान फ्रंटियर के महानिरीक्षक डेविड लालरिनसिंघा के दिशानिर्देश में बटालियनों हैडर्क्वाटरों एवं सेक्टरों में बड़े खाने का आयोजन किया गया। कई रंगारंग सांस्कृतिक कार्यक्रमों का आयोजन किया गया और जवानों को शुभकामनाएं एवं बधाई दी गई।
जैसलमेर सेक्टर नॉर्थ में 191 बटालियन के हैडक्वार्टर में कार्यवाहक डी.आई.जी लोकेश कुमार के मुख्य आतिथ्य में एक बड़े खाने का आयोजन हुवा जिसमें कमांडेन्ट एस.आर. बैरवा सहित अन्य अधिकारी मौजूद थे। इस मौके पर बड़ी संख्या में जवान, अधीनस्थ अधिकारी, सेवानिवृत बी.एस.एफ के कार्मिक और गणमान्य व्यक्ति उपस्थित थे। कार्यवाहक डी.आई.जी लोकेश कुमार ने बताया कि सीमा सुरक्षा बल फर्स्ट लाईन ऑफ डिफेन्स हैं एवं देश की सीमाओं की मुस्तैदी से रक्षा कर रही है।
कई प्रकार की चुनौतियों के बावजूद BSF पैनी निगाहों से सीमा पार से हर नापाक इरादों एवं हरकतों को नाकाम कर रही है। उन्होंने बताया कि हर साल बीएसएफ का एक दिसम्बर को स्थापना दिवस मनाया जाता है। भारत-पाकिस्तान और भारत-चीन युद्धों के बाद, बीएसएफ का गठन 1 दिसंबर, 1965 को एक एकीकृत केंद्रीय एजेंसी के रूप में किया गया था, ताकि भारत की सीमाएँ और उससे जुड़े मामलों की सुरक्षा सुनिश्चित की जा सके. यह भारत के पांच केंद्रीय सशस्त्र बलों में से एक है और दुनिया का सबसे बड़ा सीमा सुरक्षा बल है. बीएसएफ को भारतीय क्षेत्रों की रक्षा की पहली दीवार कहा जाता है।
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